What's Hot

6/recent/ticker-posts

Fact Check: चन्द्रमा से धरती का नजारा दिखाती यह क्लिप ISRO रोवर द्वारा नहीं ली गई है

नई दिल्‍ली (विश्‍वास न्‍यूज)। सोशल मीडिया पर एक वीडियो को वायरल करते हुए दावा किया जा रहा है कि यह चंद्रमा पर भारतीय रोवर द्वारा कैप्चर की गई फुटेज है, जिसमें चांद से धरती का नजारा देखा जा सकता है। कई यूजर इसे असली समझ इसरो की प्रशंसा करते हुए शेयर कर रहे हैं।

विश्‍वास न्‍यूज ने अपनी पड़ताल में पाया कि यह एक डिजिटली क्रिएटेड  वीडियो है। विश्‍वास न्‍यूज की पड़ताल में वायरल पोस्‍ट गलत साबित हुई।

क्‍या हो रहा है वायरल

इंस्टाग्राम यूजर jaykaran93492 ने इस वीडियो को पोस्‍ट करते हुए लिखा “चांद पर ISRO का जलवा। चाँद से पृथ्वी का नजारा।”

पोस्‍ट का आर्काइव वर्जन यहां देखें।

पड़ताल

विश्‍वास न्‍यूज ने सबसे पहले वायरल वीडियो को ध्यान से देखा। हमें इस वीडियो में कई कमियां दिखाई दी ।

1 ) वीडियो में पूरा रोवर दिखाई दे रहा है, जबकि असल में कैमरा रोवर के ऊपर लगा होता है, ऐसे में पूरा रोवर इस तरह दिख पाना मुमकिन नहीं है।

2 ) वीडियो में रोवर काफी तेज़ रफ़्तार से चल रहा है, जो कि इसरो द्वारा रिलीज़ की गयी बाकी फुटेज से मेल नहीं खाता।

3 ) इसके अलावा वीडियो की क्वालिटी काफी अच्छी है, जो चांद से आये बाकी फुटेज से मैच नहीं करता।

अपनी पड़ताल शुरू करते हुए हमने सबसे पहले इसरो की ऑफिशियल वेबसाइट को खंगाला। हमें वहां चंद्रयान 3 प्रज्ञान रोवर द्वारा कैप्चर की गई सारी फुटेज मिली। यह फुटेज वायरल वीडियो से बिल्कुल  अलग थी। इसकी क़्वालिटी भी वायरल वीडियो जितनी अच्छी नहीं थी।

हमने पुष्टि के लिए वायरल वीडियो को एडिटिंग और डिजाइन विशेषज्ञ अरुण कुमार के साथ शेयर किया। अरुण ने वीडियो का विश्लेषण किया और हमें बताया, “यह फुटेज असली नहीं है। वीडियो में रोवर की स्पीड, रोवर के आगे दिख रहे पहिये के निशान, धरती का आकार, धरती पर दिख रही लाइटें, ये सब इस बात की तरफ इशारा करते हैं कि यह एक डिजिटली बनाई गई फुटेज है।”

हमने इस वीडियो को लेकर इसरो से भी मेल के जरिये संपर्क किया है। उनका जवाब आते ही इस स्टोरी को अपडेट किया जाएगा।

बताते चलें कि चंद्रयान-1, भारत का पहला चंद्र मिशन, 22 अक्टूबर 2008 को सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र, श्रीहरिकोटा से सफलतापूर्वक लॉन्च किया गया था। यह ऑर्बिटर मिशन था और उसने चंद्रमा पर पानी के अणुओं की उपस्थिति की पुष्टि की थी। वहीं, चंद्रयान-2 को 22 जुलाई 2019 को लॉन्च किया गया था। इस मिशन में एक ऑर्बिटर, लैंडर (विक्रम) और रोवर (प्रज्ञान) शामिल थे। हालांकि, 7 सितंबर 2019 को लैंडर विक्रम की चंद्रमा की सतह पर सॉफ्ट लैंडिंग विफल हो गई थी, जिससे मिशन का लैंडिंग वाला हिस्सा असफल रहा। इन अनुभवों के बाद, इसरो ने चंद्रयान-3 का सफल प्रक्षेपण 14 जुलाई 2023 को किया, जिसमें 23 अगस्त 2023 को लैंडर ‘विक्रम’ ने चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर सफलतापूर्वक सॉफ्ट लैंडिंग की और रोवर ‘प्रज्ञान’ ने चंद्रमा की सतह पर चहलकदमी की। यह भारत के अंतरिक्ष कार्यक्रम के लिए एक ऐतिहासिक उपलब्धि थी, जिसने भारत को चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर सॉफ्ट लैंडिंग करने वाला पहला देश बना दिया है।

वायरल वीडियो को गलत दावे के साथ शेयर करने वाले यूजर aykaran93492 के इंस्टाग्राम पर 1000 से अधिक फॉलोअर्स हैं।

The post Fact Check: चन्द्रमा से धरती का नजारा दिखाती यह क्लिप ISRO रोवर द्वारा नहीं ली गई है appeared first on Vishvas News.

Post a Comment

0 Comments